रिपोर्ट/रिशु गुप्ता
रामसनेहीघाट बाराबंकी।नगर पंचायत रामसनेही घाट के सुमेरगंज में चल रही श्रीराम कथा का शनिवार को भव्य समापन हुआ। कथा वाचिका आचार्या शांति श्रेया जी ने अंतिम दिन भगवान श्रीराम के राजतिलक प्रसंग का भावपूर्ण वर्णन करते हुए भक्तों को भावविभोर कर दिया। उन्होंने बताया कि जब अयोध्या नगरी में भगवान श्रीराम के राज्याभिषेक की तैयारियां चल रही थीं, तभी राजा दशरथ कोप भवन में चले गए और वहीं से घटनाओं ने नया मोड़ लिया।आचार्या ने कहा कि श्रीराम का जीवन आदर्श, त्याग और मर्यादा का प्रतीक है। उनकी कथा सुनने मात्र से मानव जीवन धन्य हो जाता है। कथा के दौरान भक्तों ने “जय श्रीराम” के जयघोष के साथ पूरा पंडाल भक्तिमय कर दिया।कार्यक्रम के आयोजक प्रमोद कुमार गुप्ता ‘मुन्ना’ ने बताया कि सात दिन चली यह कथा क्षेत्र में धार्मिक एकता और भक्ति भावना का संदेश देती है। समापन पर भंडारे का आयोजन किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया।